उनके होठों की लाली,
और उपर से ये जुल्फें काली काली,
कमाल है,
कानों में गोल गोल बाली,
गालो कि त्वचा जैसे गुलाब के रस की प्याली,
कमाल है,
उसने नाक में जो नथली डाली,
और उनके पैरों में पायल छन-छन करने वाली,
कमाल है,
उनकी आँखें मृग वाली,
और फिर ये चाल मतवाली,
कमाल है,
~कुलदीप सभ्रवाल
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